All India tv news। भारत में बहुराष्ट्रीय कंपनियाँ उनके द्वारा निर्मित अनेक खाद्य या पेय पदार्थों के बारे में प्रचार करती हैं कि ये पदार्थ सेहत के लिए काफी लाभप्रद और पोषण से भरपूर होते हैं। जबकि बहुराष्ट्रीय कंपनियों के खाद्य और पेय पदार्थों के बारे में अक्सर ये शिकायत सुनने में आती है कि इन पदर्थों की गुणवत्ता पश्चिमी देशों की अपेक्षा भारत में कम पाई जाती है।
मीडिया से मिली जानकारी के अनुसार ऐसा ही एक मामला बहुराष्ट्रीय कंपनी नेस्ले द्वारा निर्मित उत्पाद सेरेलेक के बारे में भी सुनने में आया है। बताया जा रहा है कि भारत में विकसित देशों के मुकाबले सेरेलेक में चीनी की मात्रा बहुत ज्यादा बताई गई है। जोकि बच्चों की सेहत पर बुरा असर डालती है।
इस मामले ने तूल इसलिए भी पकड़ा क्योंकि नेस्ले पर यह आरोप एक स्विस जांच एजेंसी द्वारा लगाया गया है। बहुराष्ट्रीय कंपनी नेस्ले द्वारा किए गए एक दावे ने इस आरोप की पुष्टि की है कि भारत में उसके इस उत्पाद में चीनी की मात्रा को भी कम किया जा रहा है।
आपको बताते चलें कि नेस्ले इससे पहले भी अपने एक अन्य उत्पाद मैगी की गुणवत्ता को लेकर भी विवादों में रह चुकी है।
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