All India tv news। उत्तराखंड में सितारगंज के ग्राम अंजनिया स्थित राजकीय प्राथमिक स्कूल में प्रधानाध्यापक (या शिक्षक, जैसा मामला हो) को पंजिका में हस्ताक्षर कर स्कूल से बिना अनुमति गायब होना महंगा पड़ गया है। मुख्य शिक्षा अधिकारी (सीईओ) केएस रावत ने इस घोर लापरवाही को गंभीरता से लेते हुए तत्काल प्रभाव से शिक्षक को निलंबित कर दिया है।
मिली जानकारी के अनुसार, दो दिन पूर्व मुख्य शिक्षा अधिकारी केएस रावत ने अंजनिया राजकीय प्राथमिक स्कूल का औचक निरीक्षण किया था। निरीक्षण के दौरान, उन्होंने स्कूल की उपस्थिति पंजिका की जांच की। जांच में पाया गया कि संबंधित शिक्षक ने पंजिका में अपनी उपस्थिति दर्ज की थी, लेकिन वह स्कूल परिसर से अनुपस्थित थे और इस अनुपस्थिति के लिए कोई पूर्व अनुमति नहीं ली गई थी।
सीईओ ने इसे विभागीय नियमों का उल्लंघन और अपने कर्तव्यों के प्रति घोर लापरवाही माना। उन्होंने कहा कि शिक्षण संस्थानों में अनुशासन सर्वोपरि है और शिक्षकों की अनुपस्थिति सीधे तौर पर छात्रों की शिक्षा पर बुरा प्रभाव डालती है।
इस मामले में कड़ी कार्रवाई करते हुए, मुख्य शिक्षा अधिकारी ने लापरवाही बरतने वाले शिक्षक को निलंबित कर दिया है और विभागीय जांच के आदेश दिए हैं। इस कार्रवाई से क्षेत्र के अन्य शिक्षकों के बीच भी कड़ा संदेश गया है।

